05 अक्तूबर 2008

आतंकवाद की नर्सरी से निकला जज!

आतंकवाद की नर्सरी के नाम से बदनाम आजमगढ़ के शिबली इंटर कालेज का पूर्व छात्र नुसरत खान अब न्याय करने ज रहा है। नुसरत खान ने उत्तरांचल न्यायिक सेवा की परीक्षा में टॉप किया है। इसी कालेज के एक छात्र आतिफ अमीन को दिल्ली के जमिया नगर इलाके में दिल्ली पुलिस ने मार गिराया था। उसके साथ आजमगढ़ का ही एक अन्य छात्र साजिद भी मारा गया था जिसके बाद आजमगढ़ को आतंकवाद की नर्सरी घोषित कर दिया गया। आजमगढ़ का सरायमीर इलाका और संजरपुर गांव इस कदर बदनाम हुए कि वहां के नौजवानों को मुंबई से लेकर दिल्ली तक घर खाली करने को कह दिया गया। दिल्ली मुठभेड़ के बाद आजमगढ़ पर आतंकवाद का जो ठप्पा लगा वह दूर नहीं हो रहा है। कल भी मुंबई पुलिस ने संजरपुर गांव पर छापा मारा। आजमगढ़ का नाम बदनाम करने और मुसलिम नौजवानों के उत्पीड़न के खिलाफ आज इंकलाबी नौजवान सभा, आइसा और पीयूएचआर ने आजमगढ़ कलेक्ट्रेट पर प्रदर्शन कर धरना दिया। आइसा के प्रदेश अध्यक्ष रामायण राम ने कहा,‘उत्तरांचल की न्यायिक सेवा की परीक्षा में जिस छात्र ने टाप किया है, वह इसी संजरपुर गांव के पड़ोसी मंगरावां गांव का रहने वाला है। नुसरत खान उन लोगों के लिए एक जबाब है जो समूचे आजमगढ़ और मुसलिम समुदाय को बदनाम करने में जुटे हैं।’ छब्बीस साल का नुसरत खान शिबली कालेज से पढ़ा है और साल भर के प्रशिक्षण के बाद वह सिविल जज की कुर्सी पर बैठेगा। वह अकेला छात्र नहीं है, सरायमीर के एक और छात्र ने न्यायिक सेवा की परीक्षा पास की है। शिबली कालेज के प्रधानाचार्य अबू मोहम्मद ने कहा,‘दिल्ली के हादसे के बाद हर कोई आजमगढ़ जिले को शक की नजर से देख रहा है। ऐसे माहौल में नुसरत खान का न्यायिक सेवा के इम्तिहान में अव्वल आना हमारे लिए फक्र की बात है। हमारे यहां के छात्र पहले भी न्यायिक सेवा में आते रहे हैं। पर नुसरत खान ने पहली बार इस इम्तिहान में टॉप किया। उसका टॉप करना हमारे लिए खासकर ऐसे वक्त में जब सबकी निगाहें बदली हों, बहुत मायने रखता है।’ दूसरी तरफ न्यायिक सेवा की परीक्षा में टॉप करने वाले नुसरत खान ने कहा, ‘मेरी जनकारी में आज तक इस कालेज के किसी छात्र का नाम आतंकवादी घटना में नहीं आया है। मेरा तो पूरा भविष्य ही इस कालेज ने बनाया है। ऐसे में दिल्ली की घटना को लेकर किसी तरह की तोहमत कालेज और जिले पर लगाना उचित नहीं है।’आइसा के प्रदेश अध्यक्ष रामायण राम ने कहा-इसी क्षेत्र से दो लड़के न्यायिक सेवा में चुने गए हैं तो सीपीएमटी में कई लड़के आ चुके हैं। इनमें संजरपुर गांव के भी कुछ लड़के हैं। इस इलाके में पढ़े-लिखे मुसलिम नौजवानों की संख्या अच्छी खासी है पर दिल्ली धमाकों के बाद मुसलिम नौजवानों का भविष्य दांव पर लग गया है। सरायमीर के जो नौजवान दिल्ली, मुंबई, इंदौर, कोटा और लखनऊ आदि में पढ़ाई कर रहे थे, उन्हें उनके घर वालों ने डर के मारे वापस बुला लिया है। सभी को यह लगता है कि कहीं आतंकवादी बता कर किसी को मुठभेड़ में मार न दिया जए। ऐसे माहौल में नुसरत खान का जज बनना सांप्रदायिक ताकतों को मुकम्मल जबाब है।
दिल्ली धमाकों के बाद से आजमगढ़ को न सिर्फ शक की नजर से देखा ज रहा है बल्कि अबू सलेम से लेकर दाऊद इब्राहिम का उदाहरण देते हुए इसे आतंकवाद की नर्सरी घोषित करने का काम भगवा ब्रिगेड कर रही है। इस काम में पुलिस जने-अनजने उनकी मदद भी कर रही है। इंकलाबी नौजवान सभा, आइसा और पीयूएचआर का प्रदर्शन इसी के विरोध में किया गया। दिन में करीब ११ बजे इन संगठनों के कार्यकर्ताओं ने ‘आतंकवाद के नाम पर मुसलिम नौजवानों का उत्पीड़न बंद करो, जमिया नगर की मुठभेड़ की न्यायिक जंच कराओ और विहिप व बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाओ’ जसे नारे लगाते हुए प्रदर्शन किया। इंकलाबी नौजवान सभा के प्रदेश अध्यक्ष बाल मुकुन्द धुरिया ने कहा-एक तरफ दिल्ली मुठभेड़ के बाद समूचे पूर्वाचल में मुसलिम नौजवानों का उत्पीड़न किया ज रहा है तो दूसरी तरफ उड़ीशा से लेकर कर्नाटक तक में विहिप और बजरंग दल अल्पसंख्यक समुदाय पर हमला कर रहा है। प्रदर्शन के बाद हुई सभा में इंकलाबी नौजवान सभा के राष्ट्रीय अध्यक्ष मोहम्मद सलीम ने कहा-दिल्ली के जमिया नगर इलाके में हुई मुठभेड़ पूरी तरह फर्जी है। इसकी न्यायिक जंच कराई जनी चाहिए। मुठभेड़ के बाद पूर्वाचल में मुसलिम नौजवानों को गिरफ्तार कर आतंकित किया ज रहा है। कांग्रेस और भाजपा इस देश को बांटने की तैयारी कर रही हैं जिसके खिलाफ प्रगतिशील और लोकतांत्रिक ताकतों को उठ खड़ा होना होगा। साभार - विरोध जनादेश

1 टिप्पणी:

Unknown ने कहा…

mane ise www.janadesh.in per dekha .aap janadesh ka link de toachaa ho.

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